मुर्मू से पहले भी भारत के एक राष्ट्रपति का ओड़िशा से रह चुका है नाता
बेरहामपुर (ओडिशा)। राष्ट्रपति चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की ओर से द्रौपदी मुर्मू की उम्मीदवारी ने देश के चौथे राष्ट्रपति वीवी गिरि की यादें ताजा कर दी हैं क्योंकि उनका भी ओडिशा से नाता था। गिरि का जन्म और लालन-पालन गंजम जिले के बेरहामपुर शहर में हुआ था।
गिरि 24 अगस्त 1969 से 24 अगस्त 1974 तक राष्ट्रपति रहे थे। उनका कार्यकाल समाप्त होने के बाद 1975 में उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया था।
- Keshav Prasad Maurya (@kpmaurya1) 24 June 2022
राष्ट्रपति चुनाव (1969) में उन्होंने कांग्रेस के उम्मीदवार नीलम संजीव रेड्डी को हराया था। गिरि 1967 से 1969 तक देश के तीसरे उप राष्ट्रपति रहे। राष्ट्रपति जाकिर हुसैन के निधन के बाद गिरि तीन मई 1969 से 20 जुलाई 1969 तक कार्यवाहक राष्ट्रपति रहे थे।
खल्लीकोट कॉलेज से स्नातक की उपाधि हासिल करने के बाद वह यूनिवर्सिटी कॉलेज डबलिन से कानून की पढ़ाई करने के लिए आयरलैंड गये थे।
बेरहामपुर विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति जेके. बारला ने कहा कि हालांकि गिरि का जन्म और लालन-पालन बेरहामपुर में हुआ था, लेकिन उनकी राजनीतिक गतिविधियों का केंद्र तत्कालीन मद्रास प्रांत रहा था और वह केंद्रीय श्रममंत्री रहे थे।
राजनीति विज्ञान के प्राध्यापक बारला ने बताया कि उनके माता-पिता आंध्र प्रदेश के पूर्वी गोदावरी जिले के रहने वाले थे जो बेरहामपुर में बस गए थे। वे पेशे से अधिवक्ता थे और राजनीतिक गतिविधियों में हिस्सा लेते थे। उन्होंने बताया कि गिरि का जन्म जिस मकान में हुआ था उसे अब एक कन्या उच्च विद्यालय में तब्दील कर दिया गया है।
बेरहामपुर विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति जयंत महापात्रा ने कहा कि हम एक ओडिया और मयूरभंज जिले की एक आदिवासी महिला के देश का राष्ट्रपति बनने की संभावना को लेकर बहुत खुश हैं।
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