FPI ने 5 सत्रों में निकाले 20,000 करोड़, शेयर बाजार के लिए कैसा रहेगा अगला हफ्ता?
इस सप्ताह बैंक ऑफ इंडिया, बीईएमएल, हिंडाल्को इंडस्ट्रीज, ओएनजीसी और अपोलो टायर्स ब्रेनबीज सॉल्यूशंस के तिमाही नतीजों पर सभी की नजरें रहेगी। वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड में उतार-चढ़ाव और रुपया-डॉलर विनिमय दर से भी बाजार प्रभावित होगा।
शेयर बाजार विशेषज्ञ मनीष उपाध्याय ने कहा कि इस हफ्ते भी बाजार मिला-जुला ही रहेगा। निफ्टी में 800 से 900 रुपए की रेंज में ही अपडाउन होगा। रिअलिटी सेक्टर और आईटी सेक्टर दबाव में है। दिसंबर के पहले हफ्ते से ही शेयर बाजार में तेजी दिखाई दे सकती है। ट्रंप सरकार के कार्यभार संभालने के बाद भारतीय शेयर बाजार में तेजी आएगी। चीन पर टैक्स बढ़ने से भारतीय बाजार को इसका फायदा होगा।
FPI ने क्यों की जमकर बिकवाली: भारतीय इक्विटी बाजारों से विदेशी निवेशकों का पलायन बीते सप्ताह बेरोकटोक जारी रहा। विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने पिछले पांच कारोबारी सत्रों में लगभग 20,000 करोड़ रुपए निकाले। घरेलू शेयरों के अधिक मूल्यांकन और चीन में अपना आवंटन स्थानांतरित करने के कारण एफपीआई ने बिकवाली की। आने वाले समय में एफपीआई की बिकवाली जारी रहने का अनुमान है। अगर तीसरी तिमाही के नतीजे और प्रमुख संकेतक आय में सुधार का संकेत देते हैं, तो यह परिदृश्य बदल सकता है और एफपीआई बिकवाली कम कर सकते हैं।
6 कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 1.55 लाख करोड़ रुपए घटा : बाजार पूंजीकरण के लिहाज से देश की शीर्ष 10 कंपनियों में छह का कुल मूल्यांकन पिछले सप्ताह 1,55,721.12 करोड़ रुपए घट गया। रिलायंस इंडस्ट्रीज, भारती एयरटेल, आईसीआईसीआई बैंक, आईटीसी, हिंदुस्तान यूनिलीवर और भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) का बाजार मूल्यांकन घट गया। दूसरी ओर टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस), एचडीएफसी बैंक, इंफोसिस और भारतीय स्टेट बैंक को फायदा हुआ।
रिलायंस इंडस्ट्रीज का मूल्यांकन 74,563.37 करोड़ रुपए घटकर 17,37,556.68 करोड़ रुपए रह गया। भारती एयरटेल का मूल्यांकन 26,274.75 करोड़ रुपए घटकर 8,94,024.60 करोड़ रुपए रह गया। इसी तरह आईसीआईसीआई बैंक का बाजार मूल्यांकन 22,254.79 करोड़ रुपए घटकर 8,88,432.06 करोड़ रुपए और आईटीसी का मूल्यांकन 15,449.47 करोड़ रुपए घटकर 5,98,213.49 करोड़ रुपए रह गया। एलआईसी के बाजार पूंजीकरण में 9,930.25 करोड़ रुपए और हिंदुस्तान यूनिलीवर के बाजार पूंजीकरण में 7,248.49 करोड़ रुपए की कमी हुई।
अस्वीकरण : यह लेख केवल सूचना के उद्देश्य से है। यह कोई निवेश सलाह नहीं है। किसी भी निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से परामर्श जरूर लें।
Edited by : Nrapendra Gupta
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